सुरभि न्यूज़ ब्यूरो
फरीदाबाद, हरियाणा
एक प्रसिद्ध चिकित्सक, चांसलर और निदेशक, आईएलबीएस और अध्यक्ष, राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान अकादमी और प्रसिद्ध पुस्तक ‘ओन योर बॉडी’ के लेखक पद्म भूषण प्रो. (डॉ.) शिव कुमार सरीन ने दिनांक 19 दिसंबर 2024 को एनएचपीसी निगम मुख्यालय, फरीदाबाद में एनएचपीसी व्याख्यान श्रृंखला ‘प्रेरणा’ के अंतर्गत एक बहुत ही रोचक और ज्ञानवर्धक व्याख्यान दिया।
इस अवसर पर आर.पी. गोयल, निदेशक (वित्त), उत्तम लाल, निदेशक (कार्मिक), संजय कुमार सिंह, निदेशक (परियोजनाएं एवं तकनीकी) और संतोष कुमार, सीवीओ, एनएचपीसी के साथ-साथ बड़ी संख्या में एनएचपीसी कार्मिक और उनके परिवार के सदस्य उपस्थित थे।
इस अवसर पर भानु भारती, अध्यक्षा, एनएचपीसी महिला क्लब और गायत्री गोयल और एनएचपीसी महिला क्लब की अन्य सदस्य और वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय, सराय ख्वाजा, फरीदाबाद के शिक्षक और छात्र भी उपस्थित थे। कार्यक्रम की शुरुआत पारंपरिक दीप प्रज्ज्वलन के साथ हुई।
पद्म भूषण प्रो. (डॉ.) शिव कुमार सरीन, आर.पी. गोयल, निदेशक (वित्त), उत्तम लाल, निदेशक (कार्मिक), संजय कुमार सिंह, निदेशक (परियोजनाएं और तकनीकी), संतोष कुमार, सीवीओ, एनएचपीसी, भानु भारती, अध्यक्षा, एनएचपीसी लेडीज क्लब और गायत्री गोयल एनएचपीसी व्याख्यान श्रृंखला प्रेरणा में पारंपरिक दीप प्रज्ज्वलन समारोह के अवसर पर
अपने संबोधन में निदेशक (कार्मिक), एनएचपीसी उत्तम लाल ने पद्म भूषण डॉ. एस. के. सरीन का स्वागत किया और उनके व्यस्त कार्यक्रम से समय निकालकर एनएचपीसी में अपनी उपस्थिति दर्ज कराने के लिए उनका आभार व्यक्त किया। लाल ने कहा कि डॉ. सरीन जैसे चिकित्सा पेशेवरों के ज्ञान के कारण ही हम शारीरिक कार्यप्रणाली, विशेष रूप से यकृत स्वास्थ्य को समझ पाते हैं और रोगमुक्त जीवन जीने में सक्षम होते हैं। उन्होंने कहा कि डॉ. सरीन द्वारा साझा की जाने वाली जानकारियाँ बहुत मूल्यवान हैं और एनएचपीसी कार्मिक इस ज्ञान को अपनी दैनिक दिनचर्या में लागू करने का प्रयास करेंगे।
पद्म भूषण प्रोफेसर (डॉ.) शिव कुमार सरीन ने एक ज्ञानवर्धक और विचारशील व्याख्यान दिया, जिसमें उन्होंने लीवर रोग के क्षेत्र में अपनी व्यापक चिकित्सा विशेषज्ञता पर प्रकाश डाला।
उन्होंने मधुमेह, मोटापे और अन्य संबंधित रोगों के बीच आपसी संबंधों पर मूल्यवान जानकारी प्रदान की, जिससे दर्शकों को इन गंभीर स्वास्थ्य मुद्दों की समझ में महत्वपूर्ण योगदान मिला।