सुरभि न्यूज़
सैंज (कुल्लू), 09 सितंबर
भारत रत्न से नवाजी गई ऊर्जा सेक्टर की अग्रणी कंपनी एनएचपीसी ने पार्वती जल विद्युत परियोजना चरण दो में एशिया की सबसे लंबी वाटर टनल की अंतिम खुदाई पूरी कर ली है।
उल्लेखनीय है कि हिमालय पर्वत श्रृंखला की बर्फीली पहाड़ियों में एनएचपीसी को अंततः कामयाबी हासिल हुई है। कठोर पहाड़ों को भेदने वाली विदेशी मशीन टीबीएम ने 32 किलोमीटर लंबी टनल की खुदाई कर जहां विश्व कीर्तिमान स्थापित किया है, वहीं ऊर्जा उत्पादन के क्षेत्र में भी एक नए युग का सूत्रपात होने वाला है।
एनएचपीसी के कार्यपालक निदेशक कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक पार्वती प्रोजेक्ट चरण दो में अब शीघ्र ही ऊर्जा उत्पादन की आस जगी है। टनल की अंतिम खुदाई पूरी हो चुकी है और अब सिर्फ लाइनिंग का काम शेष बचा है।
एनएचपीसी के कार्यपालक निदेशक एवं पार्वती परियोजना चरण दो के प्रमुख निर्मल सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि हिमालय की इस पर्वत श्रृंखला में टनल का काम चुनौती पूर्ण था, लेकिन इंजीनियरों ने हार नहीं मानी। कहा कि देश विदेश के कामगारों एवं इंजीनियरों ने दिन-रात मेहनत की। जिस कारण पार्वती जल विद्युत परियोजना का शिखर पर पहुंचने में मात्र एक कदम शेष बचा है।
उल्लेखनीय है कि पार्वती प्रोजेक्ट में विदेशी मशीन टीबीएम से एशिया की सबसे लंबी 32 किलोमीटर हाइड्रो टनल की खुदाई बीते दो दशकों से जारी है। ताकि टनल के जरिए मणिकरण से सियूंड सैंज स्थित पावर हाउस तक पानी पहुंचा कर विद्युत उत्पादन किया जा सके। परिणाम यह है कि एनएचपीसी ने अंतिम खुदाई पूरी कर ली है, जिससे प्रबंधन वर्ग में खुशी की लहर दौड़ पड़ी है।
एशिया की सबसे लंबी जल विद्युत परियोजना टनल की खुदाई पूरी होने पर जहां केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय ने एनएचपीसी प्रबंधन को बधाई दी है, वहीं प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भी पार्वती के अधिकारियों को शुभकामनाएं दी है।
उधर पार्वती प्रोजेक्ट में मजदूर यूनियन एटक के नेता ओम प्रकाश शर्मा ने इस सफलता के लिए एनएचपीसी के अध्यक्ष एवं कार्यपालक निदेशक निर्मल सिंह, इंजीनियरों व मजदूरों को बधाई दी है। उन्होंने कहा कि वरिष्ठ अधिकारी निर्मल सिंह की देखरेख में पार्वती प्रोजेक्ट नई बुलंदियों की ओर है। बहरहाल एनएचपीसी ने एशिया की सबसे लंबी टनल की अंतिम खुदाई पूरी कर ली है।