सुरभि न्यूज़ ब्युरो
शिमला
हिमाचल के मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में वर्ष -2024 पहले दिन अनेक महत्वपूर्ण फैसले लिए हैं। हांलांकि सरकार ने बैठक में अनेक महत्वपूर्ण फैसले लिए, जो वास्तव में सराहनीय भी हैं। लेकिन नए साल के पहले दिन हुई मंत्रीमंडल की बैठक में सरकार प्रदेश के हजारों बेराजगारों के लिए रोजगार के द्वार खोलने की हिम्मत नहीं जुटा पाई।
मंत्रिमंडल की बैठक के बाद मीडिया को दी जानकारी में बताया कि सरकार दिव्यांग बच्चों के लिए योजना लाई है। ऐसे बच्चों के लिए एक शिक्षण संस्थान बनाएंगे। जब बच्चा स्कूल शिक्षा पूरी कर लेगा तो उसे उसी स्कूल में इंटीग्रेटेड शिक्षा दी जाएगी। एक एकीकृत संस्थान खोला जाएगा।
मंत्रिमंडल ने हाटी समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने की अधिसूचना को मंजूरी दे दी है। तीन जनवरी को मुख्यमंत्री सिरमौर जाकर भी इस बारे में संबोधित करेंगे।
इसके अलावा बैठक में फैसला बेरोजगारों के बारे में लिया गया है। 90 फीसदी जनसंख्या गांव में रहती है। राजीव गांधी स्वरोजगार योजना के फेज 2 को मंजूरी दी है। तीन बीघा जमीन वाले युवाओं को हर महीने 20 हजार रुपये मिलेगा। उन्हें सालाना 2 लाख 40 हजार रुपये मिलेंगे। इसके लिए 240 करोड़ रुपये की इक्विटी बिजली बोर्ड को दी जाएगी।
योजना के तहत प्रतिभागियों को तीन बीघा भूमि पर 100 किलोवाट क्षमता की परियोजना स्थापित करने के लिए 25 वर्षों तक लगभग 20,000 रुपये मासिक आय और क्रमशः पांच और दस बीघा भूमि में स्थापित की जाने वाली 200 किलोवाट और 500 किलोवाट क्षमता की परियोजनाओं के लिए 40,000 रुपये व एक लाख प्रतिमाह मासिक आय प्राप्त होगी।